आसाराम बापू को एक पूर्व महिला अनुयायी द्वारा 2013 में दर्ज कराए दुष्कर्म के मामले में दोषी करार दिया, लेकिन मंगलवार तक के लिए फैसला सुरक्षित रखा था। उन्होंने अपने फैसले में आसाराम बापू को उम्रकैद की सजा सुनायी है।
गुजरात के गांधीनगर की एक अदालत ने विशेष लोक अभियोजक आरसी कोडेकर सत्र अदालत के न्यायाधीश डीके सोनी ने सजा पर दोनों पक्षों की दलीलें सुनी और अंतिम आदेश दोपहर साढ़े तीन बजे के लिए सुरक्षित रखा था। इससे पहले अभियोजन पक्ष ने मंगलवार को दावा किया कि आसाराम बापू आदतन अपराधी हैं और उसने स्वयंभू बाबा पर भारी जुर्माना लगाने के साथ उम्रकैद की सजा सुनाने का अनुरोध किया था।
बता दें कि आसाराम बापू (81) अभी जोधपुर की एक जेल में बंद हैं, जहां वह राजस्थान में 2013 में अपने आश्रम में एक नाबालिग लड़की से दुष्कर्म के एक अन्य मामले में उम्रकैद की सजा काट रहा है। कोडेकर ने पत्रकारों से कहा कि अदालत द्वारा आसाराम को जिस अपराध के लिए दोषी ठहराया गया है उसके लिए अधिकतम उम्रकैद या 10 साल जेल की सजा का प्रावधान है। लेकिन हमने दलील दी है कि वह जोधपुर में ऐसे ही एक अन्य मामले में दोषी है। अतः वह एक आदतन अपराधी है। उन्होंने अनुरोध किया कि आसाराम को आदतन अपराधी माना जाए तथा सख्त सजा दी जाए। कोडेकर ने बताया कि बचाव पक्ष के वकील ने कहा है कि उन्हें आसाराम बापू को 10 साल की जेल की सजा सुनाने पर कोई आपत्ति नहीं है।
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