November 23, 2024

पत्नी ने जय भगवान की हत्या की थी,  सबूत मिटाने के लिए बेटे और भाई के साथ मिलकर शव बाणगंगा में फेंका था

हरिद्वार।

लक्सर के खानपुर थाना क्षेत्र के तुगलपुर गांव में संदिग्ध परिस्थितियों में लापता हुए जय भगवान (38) की गुत्थी पुलिस ने सुलझा ली है। पुलिस ने बताया कि पत्नी अर्चना ने जय भगवान की हत्या की थी। फिर सबूत मिटाने के लिए अपने बेटे और भाई के साथ मिलकर जय भगवान का शव गांव के पास ही बाणगंगा में फेंका दिया था। पुलिस ने जय भगवान की पत्नी को गिरफ्तार कर लिया है। वहीं बाणगंगा में शव की तलाश की जा रही है।

पुलिस ने बताया कि बीती 13 जुलाई को सीताराम ने खानपुर थाने में अपने भाई जय भगवान की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जय भगवान की तलाश में पुलिस ने एक टीम गठित की थी। पुलिस टीम ने जय भगवान के परिजनों और आस-पड़ोस के लोगों से पूछताछ की। जांच के दौरान पुलिस को जय भगवान की पत्नी पर कुछ शक हुआ। हालांकि जब पुलिस जय भगवान की पत्नी अर्चना से पूछताछ करती थी तो वो किसी भी बात का सही जवाब नहीं देती थी। इसी बीच पुलिस को पता चला कि दोनों के बीच अक्सर झगड़ा हुआ करता था। पुलिस ने जब सख्ती के साथ अर्चना से पूछताछ की तो उसने सच उगल दिया। अर्चना ने पुलिस को बताया कि रोज-रोज के गृह क्लेश के तंग आकर उसने गमछे से गला घोंटकर जय भगवान की हत्या कर दी। 12 जुलाई की रात को भी जय भगवान और अर्चना के बीच झगड़ा हुआ था। तभी अर्चना ने जय भगवान की हत्या कर दी। इसके बाद अर्चना ने अपने बेटे आलोक और भाई मोनू के साथ मिलकर जय भगवान का शव रात को ही गांव से कुछ दूरी पर बाणगंगा में फेंका दिया। पुलिस को अभी तक जय भगवान का शव नहीं मिला है। हालांकि जिस जगह पर जय भगवान का शव फेंका गया था, वहीं से झाडि़यों में फंसा हुआ जय भगवान का गमछा मिला है। जय भगवान के भाई सीताराम ने पुष्टि की है कि ये गमछा उसके भाई का ही है। इसी गमछे से अर्चना ने अपने पति की हत्या की थी। पुलिस ने जय भगवान की हत्या के मामले में अर्चना को गिरफ्तार कर लिया है। अर्चना को कोर्ट ने पेश कर जेल भेज दिया गया है। वहीं अन्य दो आरोपी आलोक और मोनू की तलाश की जा रही है। वहीं जल पुलिस बाणगंगा में जय भगवान के शव की तलाश कर रही है।

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