होम आइसोलेशन रोगियों को टेलीफोन द्वारा गुरूकुल राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय की ओर प्रशिक्षण दिया गया

हरिद्वार।

होम आइसोलेशन में चिकित्सा उपचार प्राप्त करने वाले रोगियों की टेलीफोन द्वारा स्वास्थ्य निगरानी एवं प्राथमिक चिकित्सा सलाह मेडिकल काउंसलर के माध्यम से प्रदान किये जाने के लिए गुरूकुल राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय के सभागार में प्रशिक्षण दिया गया।

प्रशिक्षण में गुरूकुल राजकीय आयुर्वेद महाविद्यालय के पीजी स्कालर चिकित्सकों को सम्मिलित किया गया। अपर जिलाधिकारी केके मिश्रा, उपजिलाधिकारी गोपाल सिंह चैहान, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डा. एचडी शाक्य, ऋषिकुल राजकीय आयुर्वेद महाविद्यालय के प्रोफसर, विभागाध्यक्ष डा. नरेश चैधरी सीसी सेन्टर सहायक नोडल अधिकारी डा. विनय सिंह ने मेडिकल काउंसलरस को शासन से दिये गये निर्देशों के क्रम में प्रशिक्षित किया।

कोविड रोगियों की उत्तराखण्ड में बढती संख्या के कारण होम आइसोलेशन में उपचार लेने वाले रोगियों की संख्या में अत्याधिक वृद्धि हो रही है। पूर्व में होम आइसोलेशन में उपचार लेने वाले रोगियों को काॅल सेन्टर के द्वारा समय-समय पर फोन करते हुए उनकी सेहत व जरूरत के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त की जा रही थी, किन्तु उत्तराखण्ड सरकार ने संज्ञान लिया कि होम आइसोलेशन में उपचार ले रहे रोगियों को किसी मेडिकल काउंसलर के माध्यम से परामर्श उपलब्ध कराना भी प्राथमिक उपचार के लिये आवश्यक है। इसी क्रम में जनपद हरिद्वार में जिलाधिकारी सी. रविशंकर के निर्देशन, मुख्य चिकित्साधिकारी डा. एसके झा के संयोजन में होम आइसोलेशन की संस्तुति किये गये रोगियों को मेडिकल काउंसलर के माध्यम से टेलिफोनिक परामर्श कर प्रभावी उपचार भी प्रदान किया जा रहा है। अपर जिलाधिकारी ने प्रशिक्षणार्थियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि होम आइसोलेशन रोगियों को समय से होम आइसोलशन किट वितरित हो रही है अथवा नहीं यह भी जानकारी प्रतिदिन होम आइसोलेशन रोगियों से मेडिकल काउंसलर ही प्राप्त करेंगें। मेडिकल काउंसलर को रोगियों का आवंटन अधिकतम 50 रोगियों के अनुपात से जिलाधिकारी द्वारा नामित अधिकारियों द्वारा किया जायेगा। होम आइसोलेशन रोगियों से प्रतिदिन दूरभाष एवं वीडियो काल के माध्यम से निर्धारित प्रोटोकाल के आधार पर स्वास्थ्य सम्बन्धी जानकारियां प्राप्त कर आवश्यकतानुसार चिकित्सा परामर्श देकर पूर्व प्रोटोकाल द्वारा दी गई जानकारियों का संकलन मेडिकल काउंसलर द्वारा किया जायेगा। उन्होंने कहाकि किसी भी रोगी के स्वास्थ्य में गिरावट होने की स्थिति में कोविड कंट्रोल सेन्टर को मेडिकल काउंसलर द्वारा तुरंत सूचित किया जाना आवश्यक होगा। अपर जिलाधिकारी केके मिश्रा ने मेडिकल काउंसलर के प्रशिक्षण में कहाकि जिला स्तरीय कोविड कंट्रोल सेन्टर की यह जिम्मेदारी है कि मेडिकल सलाह के दवाईयां एवं उपचार की व्यवस्था करें एवं जहां आवश्यक हो एम्बुलेंस के माध्यम से प्रभावित रोगी को कोविड सेन्टर अथवा कोविड चिकित्सालय (डीसीएच) में अग्रिम उपचार हेतु स्थानान्तरित करेंगें। अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डा. एचडी शाक्य ने कहा कि दस दिवसीय आइसोलेशन अवधि पूर्ण होने पर मेडिकल काउंसलर स्वास्थ्य सम्बन्धी पेरामीटर सुरक्षित करने के उपरान्त रोगियों की मानिटरिंग पूर्ण होने की सूचना देते हुए मानिटरिंग समाप्त कर देंगे। कोरोना रोगी शिफिटंग नोडल अधिकारी डा. नरेश चैधरी ने प्रशिक्षणार्थियों को शासन द्वारा दिये गये निर्देशों की विस्तृत जानकारी देते हुए कहा कि ये यह हम सभी का सौभाग्य है कि हमें शासन एवं जिलाधिकारी द्वारा यह अति महत्वपूर्ण टास्क दिया गया है। जिला प्रशासन की अपेक्षाओं के अनुरूप सभी मेडिकल काउंसलर इसमें अपनी अहम जिम्मेदारियों का निर्वहन करते हुए खरे उतरेंगे और होम आइसोलेशन रोगियों को मनोवैज्ञानिक दबाव से मुक्त करेंगे जिससे वे कोविड-19 भयानक बीमारी से ठीक होने के उपरान्त, तनावमुक्त होकर पूर्णतः स्वस्थ्य रहते हुए पूर्व की भांति अपना जीवन यापन कर सकेगें। प्रशिक्षण के दौरान बालरोग विभागाध्यक्ष प्रोफेसर डा. गिरीराज गर्ग, डा. विपिन पाण्डेय, डा. मयंक भटकोटि, डा. प्रियरंजन तिवारी ने भी प्रशिक्षणार्थियों को सम्बोधित किया।

Leave a Reply

Next Post

दून उद्योग व्यापार मंडल के व्यापारियों ने उत्तराखंड सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया

देहरादून। कोरोना की दूसरी लहर में जारी कोविड कर्फ्यू के चलते शहर के स्थानीय व्यापारियों की आर्थिकी की कमर पूरी तरह से टूट चुकी है। दून उद्योग व्यापार मंडल से जुड़े तमाम स्थानीय व्यापारियों ने देहरादून के घंटाघर चौक पर सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। व्यापारियों का कहना है कि […]

You May Like

Subscribe US Now